National Milk Day : एक सरकारी प्रवक्ता ने इस संबंध में विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि मत्स्य पालन, पशुपालन और डेयरी मंत्रालय के तहत पशुपालन और डेयरी विभाग, पशुपालन और डेयरी क्षेत्र के प्रभावी विकास के लिए अथक प्रयास कर रहा है, ताकि किसानों को स्थाई आजीविका प्रदान की जा सके।
भारत की स्वदेशी गोजातीय नस्लें बहुत अच्छी हैं और उनमें राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने की अनुवांशिक क्षमता मौजूद है। स्वदेशी गोजातीय नस्लों का वैज्ञानिक तरीके से संरक्षण और विकास करने के उद्देश्य से देश में पहली बार दिसंबर 2014 में राष्ट्रीय गोकुल मिशन (आरजीएम) की शुरुआत की गई थी।
उन्होंने बताया कि आरजीएम के तहत, दूध उत्पादक किसानों, डेयरी सहकारी समितियों/एफपीओ और कृत्रिम गर्भाधान तकनीशियनों (एआईटी) को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से, विभाग द्वारा 2023 के दौरान भी निम्नलिखित तीन श्रेणियों में राष्ट्रीय गोपाल रत्न पुरस्कार प्रदान करना किया जाएगा। इसमें पंजीकृत स्वदेशी मवेशी, मुर्रा भैंस नस्लों को पालने वाले सर्वश्रेष्ठ डेयरी किसान, सर्वश्रेष्ठ डेयरी सहकारी समिति (डीसीएस)/दूध उत्पादक कंपनी (एमपीसी)/डेयरी किसान उत्पादक संगठन (एफपीओ) व सर्वश्रेष्ठ कृत्रिम गर्भाधान तकनीशियन (एआईटी) शामिल हैं।
उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय गोपाल रत्न पुरस्कार 2023 में पहली दो श्रेणियों यानी सर्वश्रेष्ठ डेयरी किसान और सर्वश्रेष्ठ डीसीएस/एफपीओ/एमपीसी को निम्नानुसार योग्यता प्रमाण पत्र, एक स्मृति चिन्ह और नकद पुरस्कार शामिल हैं। जिसमें प्रथम स्थान के लिए पांच लाख रुपये, दूसरे स्थान के लिए तीन लाख रुपये व तीसरे स्थान के लिए दो लाख रुपये दिए जाएंगे।
वहीं सर्वश्रेष्ठ कृत्रिम गर्भाधान तकनीशियन (एआईटी) श्रेणी के मामले में, तीनों श्रेणियों के लिए पुरस्कार में केवल योग्यता प्रमाणपत्र और एक स्मृति चिन्ह शामिल है। उन्होंने बताया कि इस संबंध में अधिक जानकारी राष्ट्रीय पुरस्कार पोर्टल https://awards.gov.in से प्राप्त की जा सकती है।