मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक केंद्र सरकार नए साल के मौके पर सरकारी कर्मचारियों (Government Employees) को शानदार तोहफा दे सकती है. मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो मोदी सरकार फिटमेंट फैक्टर को बढ़ाने पर भी विचार कर रही है. फिटमेंट फैक्टर केंद्र सरकार के सभी कर्मचारियों के लिए बेसिक वेतन (Basic Salary) तय करता है. अगर मोदी सरकार फिटमेंट फैक्टर को बढ़ाती है तो कर्मचारियों का न्यूनतम मूल वेतन 18000 से बढ़कर 26,000 हो सकता है. अगर बजट से पहले कैबिनेट की मंजूरी मिल जाती है तो हो सकता है कि बजट से पहले यह लागू भी कर दिया जाए. खबरों की मानें तो सरकार इसे बजट से पहले कैबिनेट के अप्रूवल के बाद इसे बजट के खर्चों में शामिल कर सकती है.
बजट से पहले बढ़ सकती है सैलरी
दरअसल, केंद्र और राज्य सरकार के कर्मचारियों की लंबे समय से मांग है कि उनके फिटमेंट फैक्टर (Fitment factor) को 2.57 फीसदी से बढ़ाकर 3.68 फीसदी कर दिया जाए. ऐसी उम्मीद है कि 1 फरवरी 2022 को पेश होने वाले बजट से पहले केंद्रीय कर्मचारियों के फिटमेंट फैक्टर पर फैसला हो सकता है.
जानिए कितनी होगी बेसिक सैलरी
अगर केंद्र सरकार फिटमेंट फैक्टर को बढ़ाती है तो केंद्रीय कर्मचारियों के वेतन अपने आप बढ़ जाएगा. फिटमेंट फैक्टर को आखिरी बार 2016 में बढ़ाया गया था, जिसमें कर्मचारियों का न्यूनतम बेसिक वेतन 6,000 रुपये से बढ़कर 18,000 रुपये किया गया था. फिटमेंट फैक्टर में संभावित बढ़ोतरी से न्यूनतम बेसिक वेतन 26,000 रुपये हो सकता है. अभी न्यूनतम बेसिक पे 18,000 रुपये है, जो बढ़कर 26,000 रुपये हो जाएगा.
सैलरी के साथ बढ़ेंगे सभी भत्ते
अगर बेसिक पे 18,000 रुपये से बढ़कर 26,000 रुपये हो जाता है तो मंहगाई भत्ता भी बढ़ जाएगा. महंगाई भत्ता बेसिक वेतन के 31 फीसदी के बराबर है. DA का कैलकुलेशन डीए की दर को बेसिक पे से गुणा करके निकाला जाता है. यानी बेसिक वेतन बढ़ने से अपने आप महंगाई भत्ता भी बढ़ जाएगा.