बरसात के मौसम में डेंगू व मलेरिया जैसी बीमारियां फैलने का खतरा अधिक बना रहता है। स्वास्थ्य विभाग आमजन के स्वास्थ्य के प्रति गंभीर एवं प्रयासरत है, फिर भी नागरिकों को स्वयं भी इन बीमारियों से बचने के लिए सचेत एवं जागरूक रहने की आवश्यकता है।
उपायुक्त यशेन्द्र सिंह ने जिलावासियों से आह्वïन करते हुए कहा कि वे अपने घर एवं आस-पास की स्वच्छता पर विशेष ध्यान दें। अपने घरों के आस-पास पानी जमा न होने दें, सभी गड्ढों को मिट्टी से भर दें और रुकी हुई नालियों को साफ रखें। यदि आपके घर में या आसपास पानी जमा होने से रोकना संभव नहीं है तो उसमें पेट्रोल या केरोसिन ऑयल अवश्य डालें। सभी रूम, कूलरों, फूलदानों का सारा पानी सप्ताह में कम से कम एक बार अवश्य बदलें। घर में टूटे-फूटे डिब्बे, टायर, बर्तन, बोतलें आदि न रखें। बता दें कि डेंगू के मच्छर साफ पानी में पनपते हैं, इसलिए पानी की टंकी को अच्छी तरह बंद करके रखें। अपने घरों में सप्ताह में एक बार मच्छर नाशक दवाई का छिड़काव अवश्य करें।
उन्होंने नागरिकों से अपील की कि वे सप्ताह में एक दिन ड्राइ डे (शुष्क दिवस) के रूप मे मनाएं। इस दौरान घर के सभी कूलर व टंकियों को अच्छी तरह से साफ करें। फ्रिज की ट्रे का पानी जो बिजली जाने के बाद फ्रिज की बर्फ के पिघलने से ट्रे में एकत्रित होता है, उसको जरूर साफ करें।
उपायुक्त ने आमजन से अपील की है कि सभी को रात को सोते समय मच्छरदानी का प्रयोग करना चाहिए व दिन के समय पूरी बाजू के कपड़े पहनने चाहिए, जिससे मच्छर के काटने से बचा जा सके। उन्होंने बताया कि मलेरिया के शुरूआती लक्षणों में तेज ठंड के साथ बुखार आना, सर दर्द होना व उल्टियों का आना है। इसलिए बुखार आने पर अपने नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्र में जाकर जांच अवश्य करवाएं।