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होली महोत्सव (Holi Festival) पर देश के इस हिस्से मे सजाएं गए 1.25 लाख दीप, मनमोहक नजारा देखने के लिए हेलिकॉप्टर राइड शुरू

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होली महोत्सव पर देश के अलग- अलग हिस्सों मे बाजारो मे भी रौनक है। ऐसा ही नजारा होली (Holi) के त्योहार पर पुष्कर में देखने को मिलेगा। पुष्कर मे अन्तर्राष्ट्रीय होली महोत्सव (International Holi Festival) के तीसरे दिन 1.25 लाख दीपों से पुष्कर के 52 घाटों को सजाया गया है। जिसे देखने के लिए अगले दो दिनों तक हेलिकॉप्टर राइड भी शुरू की गई है।

पदमश्री गुलाबो सपेरा द्वारा कालबेलिया नृत्य

Pushkar में अंतरराष्ट्रीय होली महोत्सव (International Holi Festival) को और भी ज्यादा आकर्षित बनाने के लिए मेला मैदान में कैमल शो का आयोजन किया गया और पदमश्री गुलाबो सपेरा द्वारा कालबेलिया नृत्य प्रस्तुत किया गया। ऐसा माना जा रहा है कि अन्तर्राष्ट्रीय होली महोत्सव (International Holi Festival) के आयोजन से इस महोत्सव से राजस्थान को एक अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर नई पहचान मिलेगी।

हेलिकॉप्टर राइड का किराया

होली महोत्सव को नई पहचान देने के लिए अगले दो दिनों तक हेलिकॉप्टर राइड शुरू की गई है। पांच मिनट की राइड के दौरान पुष्कर होली महोत्सव और कस्बे के विभिन्न इलाकों को हेलिकॉप्टर के माध्यम से दिखाया जाएगा। इसके लिए प्रति व्यक्ति यात्री के लिए 6 हजार रुपए का शुल्क रखा गया है।

होली (Holi) पर कपड़े फाड़ने की एक अनूठी होड़

राजस्थान में Pushkar को लोग या तो वहां की संस्कृति या फिर होली की वजह से ही जानते हैं। पुष्कर में मुख्य तौर पर कपड़ा फाड़ होली खेली जाती है, जो ना सिर्फ देश बल्कि विदेश में भी खासी लोकप्रिय है। हर साल पुष्कर में होली के दौरान देश विदेश से लाखों की संख्या में पर्यटक आते हैं और जमकर होली का लुत्फ उठाते हैं। यहां के स्थानीय लोग के साथ विदेशी पर्यटक रंग और गुलाल के साथ जमकर होली खेलते हैं। इस दौरान कपड़े फाड़ने की एक अनूठी होड़ मचती है। इसके नजारे देखने के लिए लोग सुबह से ही अपने घरो की छतों पर बैठ जाते हैं।

कार्यक्रम का समापन

पुष्कर के 52 घाट को और भी ज्यादा आकर्षित बनाने के लिए घाट को विभिन्न तरह के फूलों से सजाया गया है। इसके अलावा घाट में कई तरह के सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया गया है। पुष्कर में परंपरागत होली मेला स्टेडियम से सटे रेतीले धोरों में आयोजित की गई है। कार्यक्रम का समापन धुलंडी  वाले दिन गऊ घाट पर महाआरती से किया जाएगा।