Home राष्ट्रीय मजबूत पासवार्ड लगा साइबर अपराध से बचा जा सकता है.

मजबूत पासवार्ड लगा साइबर अपराध से बचा जा सकता है.

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मजबूत पासवार्ड लगा साइबर अपराध से बचा जा सकता है.

साइबर अपराध से बचने के लिए रेवाड़ी पुलिस की ये एडवायजरी जरुर पढ़ें ….

टेक्नॉलोजी के इस दौर में जितने तेजी से हमने डिजिटल ट्रांजेक्शन और आधुनिक उपकरणों का इस्तेमाल कर शुरू किया है. उतनी तेजी से साइबर अपराध का ग्राफ भी बढ़ा है. साइबर एक्सपर्ट्स का कहना है कि सावधानी और जागरूक रहकर ही हम साइबर अपराध से बच सकते है. पुलिस भी बार-बार लोगों को जागरूक करने के लिए एडवायजरी करती है. रेवाड़ी पुलिस अधीक्षक ने इस बार स्मार्ट उपकरणों के इस्तेमाल करने में बरते जाने वाले लापरवाही को लेकर एडवायजरी जारी की है. जिस एडवायाजरी में बताया गया है कि साइबर अपराध से बचने के लिए सबसे पहले डिफ़ॉल्ट फैक्टरी से सेटिंग बदलकर एक मजबूत पासवार्ड लगाना बेहद जरुरी है.

 

IoT.-(इंटरनेट ऑफ थिंग्स):-साधारण शब्दों में कोई भी इल्क्ट्रोनिक उपकरण जो सेंसर से लैस है व डाटा का आदान-प्रदान करने के लिए इंटरनेट से जुड़ा है वह आई.ओ.टी.(IoT) कहलाता है।  उदाहरण के लिए स्मार्ट टी.वी.,स्मार्ट ए.सी.,स्मार्ट कार ,आई.पी. कैमरा ,स्मार्ट वाच ,सेल्फ ड्राईविंग कार जैसे उपकरण जिन्हें हम कहीं से भी निगरानी व नियंत्रित कर सकते हैं ।   जैसे अपने घर पर लगे आई.पी. कैमरा से हम ऑफिस में बैठे अपने घर की निगरानी कर सकते हैं , अपने घर पर कमांड से अपने टी.वी. पर मनचाही फिल्म, गाना चला सकते है ।

आई.ओ.टी. उपकरण आज के परिदृश्य में अतिआवश्यक है. क्योंकि इन्होने हमारा काम आसान व जीवन सुगम व आरामदायक बनाया है. इसके इस्तेमाल से संगठनों को रिसर्च व अपना उत्पाद ग्राहकों तक पहुँचाने में लाभ हुआ है और विभिन्न तरीकों से बाजार अनुसंधान और व्यावसायिक रणनीतियों में सुधार हुआ है व इसका इस्तेमाल भी बढ़ा है । हालांकि, इसने गोपनीयता और सुरक्षा चुनौतियों को बढ़ा दिया है । डिफाल्ट पासवर्ड ही रखना , पासवर्ड न बदलना और डिवाइस अपडेट की कमी से गोपनीयता व डाटा चोरी जैसे साईबर क्राईम बढे हैं। इस तरह से डेटा उल्लंघन और अन्य खतरों की संभावना बढ़ जाती है।

 

कैसे बचें 

निम्न उपाय करके हम खुद को इनसे होने वाले किसी भी संभावित साईबर अपराध से बचा सकते हैं

  1. अपने डिवाईस की सेक्युरिटी सैटिंग्स को बदले व कभी भी डिफॉल्ट यूजर आई.डी. पासव़र्ड ना रखे व डिवाइस के इस्तेमाल से पूर्व ही इसे बदल लें।
  2. बीच-बीच में सेक्युरिटी सैटिंग्स को चैक करते रहे व नियमित समय पर बदलते रहे ।
  3. मजबूत आई.ड़ी. व पासवर्ड जैसे कम से कम एक स्पेशल कैरेक्टर ,एक नंबंर ,स्माल व कैपिटल एल्फाबैट इत्यादि के कंबीनेशन का उपयोग करें ।
  4. बहु-कारक प्रमाणीकरण (Two Factor Authentication ) का उपयोग करें ।
  5. डिवाईस व फर्मवेयर अपडेट के लिए निरंतर चैक करते रहे व नए डिवाइस को कॉन्फ़िगरकरते समय ऑटो अपडेट का चयन करें व अपने उपकरण को रजिस्टर करें ।
  6. पुराने उपकरण उत्पादक जिनका सैक्यूरिटी पैच उत्पादक द्वारा जारी नहीं किया जाता उन्हें इस्तेमाल से हटा दें ।
  7. हमेशा विश्वसनीयउत्पादक से ही IoTडिवाईस खरीदे व कभी भी डिफॉल्ट पासवर्ड ना रखें ।
  8. उपकरण की रिपेयर या सर्विस के बाद चैक करें की कहीं यूजर आई.ड़ी.  व पासवर्ड रिसैट तो नहीं हो गए हैं ,ऐसा है तो उन्हें तुरंत प्रभाव से बदलें ।
  9. अपने उपकरण को अपडेट रखें ।
  10. अपने नेटवर्क पर फायरवाल का इस्तेमाल करें ।
  11. इस्तेमाल ना होने वाली एप्लीकेशंस व सर्विस को हटा दें ।
  12. सभी डिवाईस पर एंटीवायरस का इस्तेमाल करें/